अभी तक जा चुकी हैं 3 जान, महकमे के रिकॉर्ड में शून्य
शिवपुरी जिले में डेंगू ने न केवल दस्तक दे दी, बल्कि अभी तक तीन लोगों की जान भी चली गई। महत्वपूर्ण बात यह है कि स्वास्थ्य महकमे के रिकॉर्ड में डेंगू के 36 मरीज तो चिन्हित हो गए, लेकिन मौत के कॉलम में शून्य ही लिखा है।
गौरतलब है कि शिवपुरी जिले में इस बार औसत से अधिक 160 प्रतिशत बारिश होने की वजह से जगह-जगह जलभराव हो गया है। जिसमें डेंगू का मच्छर बहुत तेजी से न केवल पनप रहा है, बल्कि लोगों को बीमार भी कर रहा है। करैरा के पावर हाउस के पास रहने वाले बंटी के 19 वर्षीय बेटे को बीते 23 सितंबर को एकाएक तेज बुखार आया, और उसकी ब्लड प्लेटलेट्स तेजी से घटने लगीं। चूंकि सरकारी अस्पताल में डेंगू जांच की किट हैं, लेकिन उससे जांच नहीं की जा रही। बंटी अपने बेटे को लेकर प्राइवेट अस्पताल ले गया, जहां उपचार के दौरान उसकी हालत और भी बिगड़ गई, तथा गवालियर ले जाते समय रास्ते मे उसकी मौत हो गई।
करैरा के अमोला में पिछले दिनों एक युवक की मौत भी तेज बुखार के चलते हो गई। वहीं पिछोर में रहने वाले एडवोकेट राकेश शास्त्री की 53 वर्षीय पत्नी साधना को 7 दिन से बुखार आ रहा था, तथा उन्हें सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पिछोर में दो डॉक्टरों ने भी देखा, लेकिन डेंगू की जांच नहीं करवाई। बाद में जब उन्हें प्राइवेट अस्पताल में दिखाया तो डेंगू निकला, लेकिन तब तक तबियत इतनीं बिगड़ चुकी थी कि उन्होंने बीते शनिवार को दुनिया छोड़ दी।
स्वास्थ्य महकमे की पर्देदारी से खतरा
शिवपुरी जिले में पिछले माह से डेंगू ने अपना दायरा बढ़ा लिया है। जिले में डेंगू की जांच की सुविधा है, बावजूद स्वास्थ्य महकमे द्वारा इसमे लगातार पर्देदारी की जा रही है, जिसके चलते जिले में स्थिति लगातार बिगड़ती जा रही है।
आमजन स्वयं भी रखें ध्यान:
- अपने घर के आसपास साफ पानी इकठ्ठा न होने दें।
- कूलर सहित गमलों व पुराने टायर एवं कबाड़े में पानी न भरा रहने दें।
- बुखार आने पर खून की जांच करायें, तथा ब्लड प्लेटलेट्स कम होने पर तत्काल उपचार कराएं।
- ब्लड प्लेटलेट्स कम होने पर पपीते के पत्ते खाएं या पपीते की टेबलेट लें।