नगर की प्रथम नागरिक को दूर रखने को लेकर उठ रहे कई सवाल
शिवपुरी। प्रदेश के ऊर्जा मंत्री व शिवपुरी जिले के प्रभारी मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर ने बीते 15 अक्टूबर की शाम कलेक्ट्रेट में समीक्षा बैठक ली। इस बैठक में सभी जनप्रतिनिधि तो मौजूद रहे, लेकिन नगर की प्रथम नागरिक यानि नपाध्यक्ष को अंदर नहीं आने दिया। महत्वपूर्ण बात यह है कि बैठक के दौरान पूरे समय नपाध्यक्ष कलेक्ट्रेट में ही मौजूद रहीं। चूंकि प्रभारी मंत्री सौ टका सिंधीयनिष्ठ हैं, और उनके द्वारा नपाध्यक्ष की अनदेखी करने से कई तरह की चर्चाएं भी चल निकलीं हैं।
बीते 15 अक्टूबर की शाम लगभग 4 बजे से कलेक्ट्रेट में प्रभारी मंत्री की समीक्षा बैठक शुरू हुई। जिसमें सभी विभाग प्रमुखों के अलावा जनप्रतिनिधि भी मौजूद रहे। इस दौरान नपाध्यक्ष गायत्री शर्मा भी कलेक्ट्रेट में मौजूद थीं, लेकिन उनके लिए बैठक के दरवाजे बंद कर दिए गए। जिसके चलते नपाध्यक्ष सभागार के बाहर बैठकर ही मंत्री के आने का इंतजार करती रहीं।
लगभग डेड घण्टे चली समीक्षा बैठक में सभी मुद्दों पर चर्चा होती रही, लेकिन उनमें नगर के प्रथम नागरिक को सहभागी नहीं बनाया। बैठक जब खत्म हो गई, तो प्रभारी मंत्री बाहर न निकलते हुए कलेक्टर के चेम्बर में जाकर बैठ गए। वहां पर भी सभी जनप्रतिनिधि मौजूद रहे, लेकिन नपाध्यक्ष को वहां पर भी एंट्री नहीं दी गई।
इस दौरान कलेक्ट्रेट के वेटिंग रूम में पार्षद नीलम बधेल के साथ आईं नपाध्यक्ष से जब पूछा कि आप बैठक में क्यों नहीं गईं, तो उन्होंने गोलमोल जवाब देते हुए कहा कि अंदर से गेट बंद कर दिया था। लगभग एक घण्टे तक कलेक्ट्रेट चेम्बर में बैठने के बाद निकले प्रभारी मंत्री मीडिया से चर्चा करने के बाद जिलां अस्पताल की ओर रवाना हो गए थे।
मंत्री यानि सिंधिया की दूरी
प्रभारी मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर, क्षेत्रीय सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया के खास सिपहसालारों में से एक हैं। ऐसे में जबकि प्रभारी मंत्री ने जब नपाध्यक्ष से दूरी बनाई, तो यह चर्चा भी चल निकली कि शायद सिंधिया भी शिवपुरीं शहर के हालातों को देखकर खुश नहीं हैं, इसलिए उनके खास मंत्री ने नगर के प्रथम नागरिक को वजन नहीं दिया।